एक निजी अस्पताल में शादुलपुर (चूरू) निवासी 45 वर्षीय धर्मपाल के हृदय की बनावट जन्म से ही अलग प्रकार की थी। डॉक्टरों ने उसे ऑपरेशन के जरिए (स्टेंट डालकर) मौत के मुंह से बचाया है। डॉक्टरों के अनुसार विशेष प्रकार की बनावट के हृदय के कारण मरीज को पांच साल से सांस फूलने एवं थकान की शिकायत थी। ऑपरेशन के बाद मरीज स्वस्थ है।
विद्याधर नगर के एस.के. सोनी अस्पताल के डॉ. मिलिंद श्रीवास्तव ने शनिवार को मीडिया को बताया कि धर्मपाल की दोनों धमनियां दाईं तरफ से निकल रही थीं तथा 100 प्रतिशत ब्लॉकेज थीं, जो जन्म से पूर्व हृदय के बनने के समय हुआ। अस्पताल में भर्ती होने से पूर्व एक बार दिल का दौरा पड़ चुका है। डॉ. श्रीवास्तव के अनुसार दाईं आर्टरी में स्टंट डालना इतना मुश्किल नहीं होता, जितना बाईं तरफ वाली आर्टरी में होता है। मरीज के हृदय की बनावट विचित्र होने से परेशानी हुई।
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