Sunday 19 May 2013

खिलाड़ी दोषी पाए गए, तो होगी कड़ी कार्रवाईः BCCI

Image Loadingराजस्थान रॉयल्स स्पॉट फिक्सिंग मामले में गिरफ्तार अपने तीन क्रिकेटरों के खिलाफ आपराधिक शिकायत दर्ज करेगा, लेकिन बीसीसीआई ने कहा कि वह दागी तिकड़ी को सजा देने के लिये नियमों का अनुपालन करेगा। बोर्ड की कार्यकारिणी की बैठक के बाद संवाददाता सम्मेलन में बीसीसीआई अध्यक्ष एन श्रीनिवासन ने वादा किया कि यदि खिलाड़ी दोषी पाये जाते हैं तो उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। बीसीसीआई ने अपनी भ्रष्टाचार निरोधक इकाई के प्रमुख रवि सावनी को जांच आयुक्त नियुक्त किया। उनसे जल्द से जल्द अपनी रिपोर्ट सौंपने के लिये कहा गया है।
FIXING: तो क्‍या आसानी से छूट जाएंगे श्रीसंथ, अंकित और चंदीला?
श्रीनिवासन ने कहा कि हमने राजस्थान रॉयल्स के मालिकों को भी आमंत्रित किया था। उसके प्रबंधन ने बैठक में हिस्सा लिया और कार्यकारिणी को घटना के बारे में बताया। हमें बताया गया कि वे तीनों खिलाड़ियों के खिलाफ पुलिस में शिकायत दर्ज करवाना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि जब तक किसी को दोषी नहीं ठहराया जाता तब तक वे निर्दोष हैं। बीसीसीआई किसी को नहीं बचा रहा है, लेकिन हमारी कार्रवाई साफ-सुथरी होनी चाहिए। हम नियमों के अनुसार चलेंगे। यदि किसी को दोषी पाया जाता है तो हम कड़ी कार्रवाई करेंगे। उन्होंने कहा कि इसे (जांच) जल्द से जल्द पूरा किया जाएगा। यह आंतरिक जांच होगी। हमें पुलिस से कुछ सूचना की जरूरत पड़ सकती है। बाकी सावनी पर निर्भर है, लेकिन जांच जल्द से जल्द पूरी की जाएगी। हम नैसर्गिक न्याय के सभी पहलुओं पर गौर करेंगे। हमारी अपनी नियमावली है और बीसीसीआई की अपनी प्रणाली है। आईपीएल को तब करारा झटका लगा जब टेस्ट क्रिकेटर एस श्रीसंत और राजस्थान रॉयल्स के उनके साथियों अजीत चंदीला और अंकित चव्हाण को आईपीएल के कम से कम तीन मैचों में स्पॉट फिक्सिंग में शामिल करने के लिये गुरुवार को गिरफ्तार किया गया। उन्होंने सट्टेबाजों के इशारों पर यह काम किया जिनके कि विदेशों में अंडरवर्ल्ड से संपर्क हैं। भ्रष्टाचार पर रोक लगाने के बारे में बीसीसीआई प्रमुख ने कहा कि बोर्ड खिलाड़ियों की गतिविधियों पर निगरानी रखने के लिये प्रत्येक आईपीएल फ्रेंचाइजी के साथ सुरक्षा अधिकारी के अलावा भ्रष्टाचार निरोधक अधिकारी नियुक्त करेगा। उन्होंने इसके साथ ही कहा कि बोर्ड अब खिलाड़ियों के एजेंटों को मान्यता प्रदान करेगा। श्रीनिवासन ने कहा कि कार्यकारिणी ने फैसला किया है कि खिलाड़ियों के सभी एजेंट बीसीसीआई से मान्यता प्राप्त होंगे। प्रत्येक टीम के साथ सुरक्षा अधिकारी के अलावा एसीएसयू (भ्रष्टाचार निरोधक एवं सुरक्षा इकाई) अधिकारी होगा। उन्होंने कहा कि खिलाड़ियों की गतिविधियों पर नजर रखी जाएगी। आईसीसी एसीएसयू के प्रमुख इससे निबटने के लिये बीसीसीआई को आवश्यक कदम उठाने के लिये उपाय बताएंगे। उन्होंने कहा कि बोर्ड के पास सट्टेबाजों पर लगाम लगाने के लिये संसाधन नहीं है और वह केवल खिलाड़ियों की गतिविधियों पर नजर रख सकता है। उन्होंने कहा कि हम खिलाड़ियों को किसी हद तक नियंत्रित कर सकते हैं, लेकिन कानून लागू करने वाली एजेंसी का काम नहीं कर सकते। जब सट्टेबाजों पर नियंत्रण की बात आती है तो हम कुछ नहीं कर सकते। इस तरह के टूर्नामेंटों में खिलाड़ियों पर निगरानी रखने और सतर्कता को मजबूत करने के लिये विस्तृत ज्ञापन भी मुझे सौंपा गया है। राजस्थान रॉयल्स की तरफ से उसके सह मालिक मनोज बदाले ने भाग लिया। इसके अलावा आईपीएल संचालन परिषद के सदस्य रवि शास्त्री और बीसीसीआई तकनीकी समिति के प्रमुख अनिल कुंबले ने भी बैठक में हिस्सा लिया। कुंबले ने वीडियो कांफ्रेसिंग के जरिये बैठक में अपनी बात कही। श्रीनिवासन ने कहा कि टूर्नामेंट से पहले सभी टीमों के खिलाड़ियों को शिक्षित करने के लिये एसीएसयू ने जो कदम उठाये थे उनके बारे में कार्यकारिणी को बताया गया। बीसीसीआई ने इन खिलाड़ियों को निलंबित कर दिया है। इन पर आईपीसी की धारा 420 (धोखाधड़ी) और 120 बी (आपराधिक षड्यंत्र) के तहत आरोप लगाये गए हैं। बोर्ड ने प्रथम श्रेणी क्रिकेटर अमित सिंह को भी निलंबित कर दिया है जो अब कथित रूप से सटोरिया है। उसे 16 मई को 10 अन्य सटोरियों के साथ गिरफ्तार किया गया था। श्रीनिवासन ने इन बातों को भी नकार दिया कि आईसीसी से चेतावनी मिलने के बावजूद बोर्ड ने भ्रष्टाचार के खिलाफ कदम नहीं उठाये। उन्होंने कहा कि आईसीसी एसीएसयू ने आज पुष्टि की उन्होंने में कुछ नहीं बताया था। यह सूचना सही नहीं है। उन्होंने दावा किया कि बोर्ड को दिल्ली पुलिस से इस मामले में कोई जानकारी नहीं मिली थी। उन्होंने कहा कि हम खिलाड़ियों पर लागू होने वाले नियमों के हिसाब से चलेंगे। हमने पुलिस से हमारी जांच पूरी करने के लिये सूचना मुहैया कराने का आग्रह भी किया है। हमने इस संबंध में दिल्ली पुलिस को भी मदद की पेशकश की है। यदि खिलाड़ी दोषी पाये जाते हैं तो हम बेरहम कार्रवाई करने से भी नहीं हिचकिचाएंगे। श्रीनिवासन ने कहा कि बोर्ड खिलाड़ियों के खिलाफ शिकायत दर्ज करने का अधिकारी नहीं है, क्योंकि वे राजस्थान रॉयल्स से अनुबंधित हैं। उन्होंने कहा कि हमें सलाह दी गयी कि बीसीसीआई प्राथमिकी दर्ज नहीं कर सकता। फ्रेंचाइजी ऐसा करेगी। हम अनुशासन समिति की रिपोर्ट के अनुसार चलेंगे। बोर्ड प्रमुख ने इसके साथ ही कहा कि दिल्ली पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार किये गये खिलाड़ियों से इतर अन्य खिलाड़ियों की भागीदारी के बारे में जानकारी नहीं दी है। उन्होंने कहा कि यह तीन खिलाड़ियों से जुड़ा सवाल है जिन्होंने कथित तौर पर स्पॉट फिक्सिंग के रूप में गलत काम किया। जहां तक बीसीसीआई का सवाल है तो हम जांच आयोग की रिपोर्ट के अनुसार चलेंगे। हम कार्रवाई करने में नहीं हिचकिचाएंगे, लेकिन हम केवल दोषी व्यक्तियों के खिलाफ कार्रवाई करेंगे। उन्होंने कहा कि हम आईसीसी एसीएसयू की सेवाएं ले रहे हैं। वे टूर्नामेंट में निगरानी रख रहे हैं। हमारे पास पेशेवर लोग नहीं हैं। श्रीनिवासन ने कहा कि भ्रष्टाचार रोकने के लिये खिलाड़ियों को शिक्षित करने वाली प्रणाली को मजबूत किया जाएगा। उन्होंने कहा कि हमारी पहले ही नियमावली है। आईसीसी एसीएसयू निगरानी कर रही है। सत्र शुरू होने से पहले उन्होंने सभी खिलाड़ियों को क्या करना है और क्या नहीं है, के बारे में बताया था। ऐसा नहीं है कि कुछ नहीं किया गया। श्रीनिवासन ने कहा कि खिलाड़ियों ने उन फॉर्म पर हस्ताक्षर किये हैं जिनमें कहा गया है कि वे सब कुछ समझते हैं। इसके बाद करने के लिये कुछ नहीं बचा था। मैं पहले से अनुमान नहीं लगा सकता। रिपोर्ट मिलने के बाद ही हम कार्रवाई कर सकते हैं। हम साफ कर देना चाहते हैं कि हम कड़ी से कड़ी कार्रवाई करने में नहीं हिचकिचाएंगे। हम अपने शिक्षा कार्यक्रम को भी मजबूत करेंगे।

No comments:

Post a Comment