Monday 23 September 2013

मेडिकल जांच के डर से नागर भूमिगत

  
मेडिकल जांच के डर से नागर भूमिगत
मेडिकल जांच के डर से नागर भूमिगत

जयपुर। दुष्कर्म के आरोप में घिरे पूर्व मंत्री बाबूलाल नागर को मेडिकल जांच के लिए सोमवार सुबह नागर के बंगले पर पहंुची सीआईडी की टीम को बैरंग लौटना पड़ा। नागर के बंगले से नदारद होने के कारण सीआईडी की टीम ने डेढ़ घंटे तक नागर का इंतजार किया और फिर लौट गई। वहीं नागर ने साफ कह दिया है कि वह मेडिकल जांच नहीं करवाएंगे। नागर के बेटे ने कहा कि पिताजी धार्मिक यात्रा पर गए हैं। सीआईडी के जांच अधिकारी वीके गौड़ का कहना है कि नागर को मेडिकल जांच के लिए एसएमएस अस्पताल ले जाना था, लेकिन नागर घर पर नहीं थे।

सीबीआई को करने दो जांच
नागर ने बताया कि अगर सरकार सीबीआई जांच के लिए पत्र भेज चुकी है, तो फिर सीआईडी अपनी जांच अभी भी जारी क्यों रखे हुए है। नागर का कहना था कि मैंने एक पत्र सीआईडी को दिया है, जिसमें कुछ तथ्यों की जांच की मांग की गई है। इन तथ्यों पर जांच पूरी होने के बाद ही मैं हर जांच में सहयोग करने के लिए तैयार हूं। नागर से जब पूछा गया कि अभी वे कहां से बोल रहे हैं तो उन्होंने फोन काट दिया।

जरूरी है जांच
सूत्रों के अनुसार पीडिता के कपड़ों पर मिले सिमन की जांच के लिए भी नागर का ब्लड सैंपल लेना जरूरी है। सूत्रों के अनुसार नागर अपना ब्लड सैंपल नहीं देना चाहते हैं। इसलिए नागर सीआईडी टीम के बंगले से पहुंचने से पहले ही भूमिगत हो गए हैं।

सच से डर रहे हैं: पीडिता
उधर पीडिता ने कहा कि नागर जांच में सहयोग नहीं कर रहे हैं, इसका मतलब यह है कि वो सच के सामने आने से डर रहे हैं। अगर वो लापता हो गए हैं तो ऎसा संभव नहीं है। पुलिस के रहते कोई लापता कैसे हो सकता है।

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